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ศาสนา&จิตวิญญาณ
मैजिक ऑफ गॉड ब्लेस यू
क्या कभी ऐसा हुआ है कि किसी को आपने मन ही मन याद किया और वह कुछ समय में आपके सामने हाज़िर हो गया? ऐसा अकसर होता है। क्योंकि हम अंतर्मन द्वारा उससे जुड़े होते हैं। जब हम किसी को तहे दिल से याद करते हैं तो उस पर भी हमारे विचारों का असर होता हैमात्र याद करने से हमारे विचारों की तरंगें किसी पर असर कर सकती हैं तो सोचिए जब हम किसी के प्रति नकारात्मक भाव रखते हैं, नकारात्मक सोचते हैं तो उसका भी असर उस पर ज़रूर होता होगा।जब हम किसी को घूरकर देखते हैं तो उसके मन में भी हमारे प्रति क्रोध जगता है, वहीं अगर हम किसी को प्यार से देखते हैं तो सामनेवाले का क्रोध शांत होने लगता है। यह सद्भावना की शक्ति है, जो किसी के लिए मन में अच्छे भाव लाने से असर करती है।
जब हम मन ही मन किसी के प्रति क्रोध, नफरत, घृणा, ईर्ष्या पाल लेते हैं तो अदृश्य में उस इंसान पर भी उसका नकारात्मक परिणाम होता है। इसी से अनबन, झगड़े और जीवन में अशांति छा जाती है।इससे मुक्ति पाने का आसान मार्ग है, अपने भाव बदलना और अपने द्वारा अच्छे भावों का प्रसारण करना। जिसके प्रति मन में नकारात्मक भाव हैं, उसके भी मंगल की कामना करना। ऐसा करने से सबसे पहले उन अच्छे भावों का असर हमारी आंतरिक अवस्था पर और हमारे जीवन पर होता है।
किसी को ‘गॉड ब्लेस यू’ कहना यह दर्शाता है कि आप उसका मंगल चाहते हैं। कहने को यह छोटा सा वाक्य है लेकिन अगर मंगल भाव से उसे कहा जाए तो उसका असर जरूर होता है। यह मंगल भाव की किरणें हमारे आंतरिक और बाहरी जीवन को जगमगा सकती हैं।
इन मैजिकल शब्दों का असर और उसके पीछे की समझ पाने के लिए पढ़ें- सरश्री द्वारा रचित पुस्तक - ‘मैजिक ऑफ गॉड ब्लेस यू’ और लाएँ अपने तथा दूसरों के जीवन में नई रोशनी।
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หนังสือเสียง : 4 พฤษภาคม 2564
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